डीएम को ज्ञापन सौंप अवैध कब्जा हटवाने के साथ ही दोषी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई
आजमगढ़: सरकार भ्रष्टाचार पर अंकुश के लाख दावे करे लेकिन आए दिन भ्रष्टाचार के नए नए आरोप लगते रहते हैं । ताजा ममाला सदर तहसील का है। यहां के एक चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी पर करोड़ों रूपये की सरकारी जमीन पर कब्जा कर घर बनवा लेने का आरोप लगा है। उच्च न्यायालय से लेकर डीएम तक ने ममाले में कार्रवाई का निर्देश दिया लेकिन छह साल में अधिकारी मामले की जांच तक नहीं कर पाए। गांव के लोगों ने बुधवार को एक बार फिर डीएम से मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा तथा अवैध कब्जा हटवाने के साथ ही दोषी कर्मचारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। डीएम कार्यालय पहुंचे सदर तहसील क्षेत्र के नरौली निवासी अरविंद यादव पुत्र दशरथ यादव ने आरोप लगाया कि उनके मुहल्ले के जी रहने वाले मुकेश यादव पुत्र निक्कू यादव सदर तहसील में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी है। उसने अपने भाई रमेश, कमलेश व प्रमोद के साथ मिलकर नवीन परती आराजी नंबर 31 रकबा 0.130 हेक्टेयर व गाटा संख्या 31 रकबा 0.63 हेक्टयर भूमि पर जबरदस्ती कब्जा कर लिया है। उक्त लोगों ने सरकारी भूमि पर भवन बनवा लिया है। आरोप है कि क्योंकि मुकेश तहसील का कर्मचारी है इसलिए जब भी उसके खिलाफ शिकायत होती है अधिकारी दबा देते है। मुकेश काफी दबंग है वह लोगों को तरह से प्रताड़ित करता है। अवैध कब्जों के मामले में उच्च न्यायालय के द्वारा दिये गए निर्देश के आधार पर जिलाधिकारी ने वर्ष 2014 में बेदखली का आदेश दिया था। 31 जनवरी 2014 के तत्कालीन जिलाधिकारी नीना शर्मा ने कोर्ट के तहसीलदार सदर को कब्जा हटाने की कार्रवाई के लिए निर्देशित किया लेकिन आज तक कोई कार्रवाई नहीं की गयी। वहीं शिकायत कर्ता का कहना है कि उन्हें लगातार धमकी दी जा रही है ।
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