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आजमगढ़: सरयू की धारा ने लील ली 22 बीघा भूमि, सर्वे अभी बाकी


गिरिजा, शारदा व सरयू बैराज से फिर छोड़ा गया 1,22,199 क्यूसेक पानी

जलजमाव और कीचड़ से मुश्किलें बढ़ी, बढ़ा मच्छरों का प्रकोप

आजमगढ़: सगड़ी तहसील के उत्तर देवारा में बहने वाली
सरयू नदी का जलस्तर में घटाव जारी है। 24 घंटे में 12 सेमी की कमी दर्ज की गई। जबकि सोमवार को 16 सेमी पानी कम हुआ था। जलस्तर कम होने के साथ कटान से हुए नुकसान का सर्वे कराने में प्रशासन जुट गया है। मंगलवार को हुए सर्वे में सहबदिया और परसिया में अब तक लगभग 12 तो झगरहवा, बासू का पुरवा और बगहवा में लगभग 10 बीघा भूमि नदी की धारा में विलीन हो चुकी है। जहां अभी पूरी तरह से पानी नहीं हटा है, वहां की भूमि का सर्वे होना बाकी है। तहसीलदार विवेकानंद दुबे ने बताया कि पानी हटने के बाद सर्वे शुरू होगा। अभी भी झगरहवा, बगहवा, बासू का पूरा और सहबदिया में धीमी गति से कटान होने से कृषि भूमि नदी की धारा में समा रही है। कई दिनों से जलस्तर में कमी के बाद भी 70वें दिन गिरिजा, शारदा व सरयू बैराज से फिर 1,22,199 क्यूसेक पानी छोड़ा गया, जिससे बाढ़ का खतरा समाप्त होने की उम्मीद नहीं है। कारण कि क्षेत्र के लोगों का मानना है कि कई दिनों तक तीन लाख क्यूसेक से कम पानी छोड़ने पर जलस्तर में वृद्धि नहीं होती। इस प्रकार अब तक नदी में कुल 2,10,01,670 क्यूसेक पानी छोड़ा जा चुका है। बीच में 18वें दिन 25 जुलाई, 55वें दिन एक सितंबर और 66वें दिन 12 सितंबर को पानी नहीं छोड़ा गया था। मुख्य गेज स्थल बदरहुआ नाले के पास खतरा निशान 71.68 मीटर है। सोमवार को 70.62 मीटर रिकार्ड किया गया, जबकि मंगलवार को 70.50 मीटर रहा। इस प्रकार नदी खतरा निशान से 1.18 मीटर नीचे बह रही थी। गांवों के रास्तों सेपानी हटने के साथ सभी स्थानों पर नाव का संचालन भी बंद करा दिया गया है। फिर भी रास्तों पर कीचड़ और आसपास जलजमाव से मुश्किलें समाप्त नहीं हुई हैं।कारण कि कीचड़ के कारण दुर्गंध जो पानी जमा होने के कारण मच्छरों का प्रकोप बढ़ गया है। अभी तक प्रशासन की ओर से दवाओं का छिड़काव शुरू नहीं किया गया है।

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रिपोर्ट आज़मगढ़ लाइव

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