लेखपाल ने बिना किसी आदेश के ही दर्ज कर दिया तीन सहखातेदारों के नाम
मण्डलायुक्त के सख्त रवैये से मात्र दो घण्टे में खतौनी दुरुस्त कर उपलब्ध कराई गयी
आज़मगढ़ 23 मई -- मण्डलायुक्त कनक त्रिपाठी के त्वरित न्याय दिलाने की प्रवृत्ति के चलते विगत कई माह से दर दर भटक रहे किसान को जहाॅ दो घण्टे के अन्दर राहत मिली वहीं बिना किसी आदेश के ही तीन सहखातेदारों के नाम अंकित कर दिये जाने के नतीजे में मण्डलायुक्त के निर्देश पर तत्कालीन लेखपाल के विरुद्ध निलम्बन की कार्यवाही की गयी। मामला तहसील फूलपुर अन्तर्गत ग्राम हेवती का है जहाॅं एक वृद्ध किसान की खतौनी में गांव के तत्कालीन लेखपाल द्वारा बिना किसी आदेश के ही तीन सहखातेदारों के नाम अंकित कर दिया था। ज्ञातव्य हो कि गत दिवस मण्डलायुक्त श्रीमती त्रिपाठी के समक्ष नगर के मुहल्ला दलसिंगार निवासी वृद्ध किसान विजय कृष्ण ने प्रार्थना पत्र देते हुए अवगत कराया कि उनकी जमीन तहसील फूलपुर के ग्राम हेवती में है तथा खतौनी वर्ष 1420-1425 फसली में वह अकेला खातेदार है, परन्तु खतौनी वर्ष 1426-1431 फसली में तहसील स्टाफ एवं तत्कालीन लेखपाल गोरखनाथ यादव द्वारा उनके नाम के साथ बिना किसी आदेश के बतौर सहखातेदार के रूप में शेख मुहम्मद जुबैर, शेख अबरार अहमद व शेष अबसार अहमद का नाम दर्ज करा दिया गया। शिकायतकर्ता द्वारा यह भी अवगत कराय गया कि प्रकरण के सम्बन्ध में अवगत कराय जाने पर तहसीलदार फूलपुर द्वारा लेखपाल एवं राजस्व निरीक्षक से आख्या मांगी गयी थी, जिसपर कागजात की जाॅंच के उपरान्त वर्तमान लेखपाल एवं राजस्व निरीक्षक द्वारा अपनी जाॅंच रिपोर्ट में स्पष्ट किया है कि उक्त प्रकरण में पूर्व में जालसाजी की गयी है। इसके बावजूद उक्त वृद्ध कृषक द्वारा लगातार तहसील के अधिकारियों से सम्पर्क किये जाने के बावजूद इस दिशा में कोई अग्रेतर कार्यवाही नहीं हो सकी। उक्त किसान ने शनिवार को मण्डलायुक्त कनक त्रिपाठी के समक्ष प्रार्थना पत्र देते हुए पूर्ण विवरण से अवगत कराया। उन्होंने प्रकरण को गंभीरता से लेते हुए तत्काल फूलपुर के उपजिलाधिकारी एवं तहसीलदार से सम्पर्क कर प्रकरण को अनावश्यक रूप से लम्बित रखने पर नाराजगी जताई तथा सख्त निर्देश दिया कि खतौनी में सहखातेदारों के नाम अंकित करने वाले तत्कालीन लेखपाल को तत्काल निलम्बित करने के साथ ही तुरन्त खतौनी को दुरुस्त किया जाय। मण्डलायुक्त के सख्त रवैये को देखते हुए दो घण्टे अन्दर खतौनी को दुरुस्त करते हुए उनके समक्ष प्रस्तुत कर दी गयी तथा तत्कालीन लेखपाल गोरखनाथ यादव जो वर्तमान में खानजहाॅंपुर मण्डल में कार्यरत हैं के विरुद्ध तत्काल प्रभाव से निलम्बन की भी कार्यवाही कर दी गयी है।
Blogger Comment
Facebook Comment