.

.

.

.
.

वृद्धाश्रम में संवासियों को बुनियादी सुविधाएं नही मिली, एनजीओ ब्लैकलिस्टेड

लॉकडाउन के दौरान भी वृद्धों को पेयजल, वस्त्र, चिकित्सा आदि सुविधा नही दी गयी

एनजीओ ने सरकारी धन का दुरुपयोग किया, होगी वसूली-मंडलायुक्त

आजमग़ढ़- मण्डलायुक्त ने कोरोना वायरस की महामारी के दौरान भी वृद्धों को बुनियादी सुविधायें उपलब्ध न कराने पर सम्बन्धित एनजीओ को ब्लैक लिस्टेड करने तथा दृृुरुपयोग की धनराशि वसूल कराने हेतु शासन को भेजी संस्तुति आज़मगढ़ 22 अप्रैल -- मण्डलायुक्त कनक त्रिपाठी ने बार बार निर्देश दिये जाने के बावजूद आज़मगढ़ नगर के मुहल्ला आराजी बाग स्थित वृद्धाश्रम में संवासियों को कोरोना वायरस की वैश्विक महामारी के कारण घोषित लाकडाउन में भी पेयजल, चिकित्सा सुविधा, वस्त्र आदि की समुचित व्यवस्था उपलब्ध नहीं कराये जाने तथा प्रथम दृष्टया शासकीय धन के दृरुपयोग का दोषी पाये जाने के कारण सम्बन्धित एनजीओ को ब्लैक लिस्टेड करने के साथ ही इनके कार्यों की उच्च स्तरीय जाॅंच कराकर शासकीय धन के दुरुपयोग की धनराशि वसूल कराये जाने की संस्तुति शासन को भेज दी है। ज्ञातव्य हो कि समाज कल्याण विभाग द्वारा वित्त पोषित उक्त वृद्धाश्रम लखनऊ की एनजीओ जेपीएस फाउण्डेशन द्वारा संचालित है तथा उक्त वृद्धा आश्रम के संचालन में अनियमितता के सम्बन्ध में मण्डलायुक्त को शिकायतें प्राप्त हुई थी। मण्डलायुक्त श्रीमती त्रिपाठी ने कोरोना वायरस (कोविड-19) की महामारी एवं घोषित लाकडान को देखते हुए प्राप्त शिकायतों पर पूरी गंभीरता दिखाते हुए गत 9 अप्रैल को अपर आयुक्त (प्रशासन) अनिल कुमार मिश्र, संयुक्त कृषि निदेशक एसके सिंह एवं उप निदेशक समाज कल्याण सुरेश चन्द की तीन सदस्यीय टीम गठित कर मौके पर जाॅंच कराई तो वहाॅं काफी अनियमितता एवं अव्यवस्था पाई गयी। जाॅंच से स्पष्ट हुआ कि बुजुर्गों हेतु स्थापित किया गया आश्रम ग्राउण्ड फ्लोर पर न होकर निजी भवन के प्रथम तल पर है जिससे बुजुर्गों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है तथा 150 की क्षमता वाले वृद्धा आश्रम में मात्र 8 संवासी हैं तथा 13 कर्मचारियों में से मात्र 5 कर्मचारी ही उपस्थित हैं। आश्रम का समरसीबुल महीनों से खराब होने के कारण वहाॅं आवासित बुजुर्गों को जहाॅं पीने का पानी भी उपलब्ध नहीं था वहीं उनके पहनने के लिए कपड़े भी नहीं वितरित किये गये थे। मण्डलीय अधिकारियों द्वारा किये गये निरीक्षण के दौरान यह भी स्पष्ट हुआ कि वृद्धा आश्रम संचालित करने वाली एनजीओ जेपीएस फाउण्डेशन द्वारा बुजर्गों को कोरोना वायरस की महामारी के संक्रमण से बचाव की व्यवस्था एवं लाकडाउन में बुनियादी सुविधायें उपलब्ध कराये के सम्बन्ध पूरी तरह से नजरअन्दाज किया गया है। संवासियों के लिए न तो मास्क उपलब्ध कराये गये थे और न ही साबुन, हैण्डवाश, सेनिटाइजर आदि ही कोई व्यवस्था की गयी थी। निरीक्षण के समय अधिकारीगण तब आश्चर्ययकित रह गये थे जब बताया गया कि कोराना वायरस की महामारी के बावजूद महीने भर से भी अधिक समय से इन बुजुर्गों का मेडिकल चेकअप भी नहीं हुआ है, जबकि आश्रम में नियमित चेकअप हेतु चिकित्सक नामित हैं। इसके अलावा संवासियों के बिस्तर की चादर, लिहाफ, उनके बदन के कपड़े भी काफी गन्दे थे तथा उन्हें स्नान के लिए आश्रम से बाहर दूर जाना पड़ता है। मण्डलायुक्त कनक त्रिपाठी ने बताया कि निरीक्षणकर्ता अधिकारियों द्वारा प्रस्तुत आख्या में यह भी उल्लेख किया गया है कि प्रथत तल पर संचालित उक्त वृद्धा आश्रम 3200 वर्ग फुट के एक ही हाल में संचालित है जिसमें पुरुषों तथा महिला संवासियों को रहने हेतु कपड़े के पर्दे का पार्टीशन डालकर व्यवस्था की गयी है। साथ ही कपड़े पर्दे से ही डायनिंग हाल, कार्यालय आदि भी बनाया गया है। उन्होंने यह भी बताया कि उक्त हाल के लिए समाज कल्याण विभाग द्वारा संस्था को प्रतिमाह 90 हजार रुपये की धनराशि किराये के रूप में दी जाती है जो भवन की क्षमता से बहुत अधिक है। इसी प्रकार संस्था को विभिनन मदों जैसे- भोजन, औषधि, पर्सनल केयर, मनारंजन, भवन किराया, प्रशासनिक व्यय, मानदेय, वस्त्र आदि हेतु भी पर्याप्त धनराशि उपलब्ध कराये जाने के बावजूद वृद्धा आश्रम की स्थिति अत्यन्त दयनीय पाई गयी। मण्डलायुक्त श्रीमती त्रिपाठी ने कहा कि कोविड-19 की महामारी के दौरान भी वृद्धजनों एवं आश्रम की दयनीय स्थिति मिलने से स्पष्ट होता है कि उक्त संस्था वृद्धजनों को मानक के अनुरूप सुविधा उपलबध कराने में सक्षम नहीं है जिससे वृद्धाश्रम सुचारू रूप से संचालित नहीं हो पाया है। इस प्रकार प्रथम दृष्टया जेपीएस फाउण्डेशन, लखनऊ द्वारा शासकीय धन का दुरुपयोग किया जाना परिलिक्षत होता है। श्रीमती त्रिपाठी ने बताया कि इन्हीं सब कारणों से समाज कल्याण विभाग द्वारा वित्तपोषित जेपीएस फाउण्डेशन को ब्लैक लिस्टेड करने के साथ ही इनके कार्यों की उच्चस्तरीय जाॅंच कराकर शासकीय धन के दुरुपयोग की धनराशि वसूल कराये जाने के सम्बन्ध में संस्तुति शासन को भेजी गयी है। ----

Share on Google Plus

रिपोर्ट आज़मगढ़ लाइव

आजमगढ़ लाइव-जीवंत खबरों का आइना ... आजमगढ़ , मऊ , बलिया की ताज़ा ख़बरें।
    Blogger Comment
    Facebook Comment