मुख्य देयकों की वसूली मे सुधार न होने की दशा में होगी कार्यवाही- जिलाधिकारी
आजमगढ़ :: जिलाधिकारी शिवाकान्त द्विवेदी की अध्यक्षता मे कलेक्ट्रेट सभागार मे माह दिसम्बर 2018 का मासिक समीक्षा बैठक सम्पन्न हुई। इस अवसर पर जिलाधिकारी द्वारा कर-करेत्तर एवं राजकीय देयों की तहसीलवार वसूली की समीक्षा की गयी। कर राजस्व के अन्तर्गत स्टाम्प एवं पंजीकरण, राजस्व उत्पाद शुल्क (आबकारी), वाहन कर/माल एवं यात्री कर तथा विद्युत कर एवं शुल्क की समीक्षा की गयी, जिसमे आबकारी, स्टाम्प एवं पंजीकरण के संबंधित विभाग के अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि कर राजस्व की वसूली मे तेजी लायें। इसी क्रम मे करेत्तर राजस्व के अन्तर्गत वानिकी एवं वन्य जीव, भू-तत्व धातुकर्म (खनन विभाग), लोक निर्माण विभाग (सड़क-पुल), नगर विकास विभाग तथा कृषि मण्डी समिति के राजस्व वसूली की विस्तार से समीक्षा की गयी। समीक्षा के दौरान कर राजस्व में पाया गया कि आबकारी में माह का प्राप्ति प्रतिशत 80.23 तथा क्रमिक प्राप्ति का प्रतिशत 78.56 है। जिसपर जिलाधिकारी ने लक्ष्य के सापेक्ष वसूली को पूरा करने के निर्देश दिये। इसी के साथ ही करेत्तर राजस्व में भू-तत्व एवं धातु कर्म में माह की प्राप्ति प्रतिशत 145.12 तथा क्रमिक प्राप्ति का प्रतिशत 68.28 है, तथा नगर पालिका परिषद आजमगढ़ में माह की प्राप्ति प्रतिशत 69.89 तथा क्रमिक प्राप्ति का प्रतिशत 101.88 है। उन्होने समस्त संबंधित अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि कार्ययोजना बना लें, कि किस-किस माह में कितनी वसूली करनी है, उसी प्रकार वसूली की कार्यवाही करना सुनिश्चित करें। इसी क्रम मे जिलाधिकारी द्वारा मुख्य देयकों की वसूली मे तेजी लाने हेतु निर्देश दिए गये। उन्होने समस्त उप जिलाधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि मुख्य देयकों की वसूली मे सुधार न होने की दशा में कार्यवाही की जायेगी। इस अवसर पर जिलाधिकारी ने समस्त उप जिलाधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि 05 वर्ष से अधिक पुराने वादों को डे-टू-डे मुकदमें का तारीख लगाकर मुकदमे को निस्तारण करना सुनिश्चित करें। इस अवसर पर मुख्य राजस्व अधिकारी आलोक कुमार वर्मा, अपर जिलाधिकारी प्रशासन नरेन्द्र सिंह, अपर जिलाधिकारी वि0/रा0 गुरू प्रसाद, समस्त उप जिलाधिकारी तथा तहसीलदार सहित संबंधित विभाग के अधिकारी/कर्मचारी उपस्थित रहे।
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