दीपोत्सव के लिए बंदियों ने अपने हाथों तैयार किए 2500 दीए
आजमगढ़ : यूं तो जेल श्रीकृष्ण जनमोत्सव मनाने के लिए जाना जाता है, लेकिन अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा को लेकर जिला कारागार में बंदी भी रामभजन में मगन होंगे। सुबह-शाम राम भजन बैरकों समेत मंडलीय कारागार परिसर में सुबह-शाम बजने लगा है। 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा के दिन जेल अन्य कार्यक्रमों से पूरी तरह राममय हो जाएगा। सुबह-शाम राम-भजन की गूंज के साथ ही दीपोत्सव की तैयारी भी चल रही है। बंदियों ने खुद दीपोत्सव के लिए दीपक तैयार किए हैं। कार्यक्रम को बेहतर बनाने के लिए जेल के मंदिर की रंगाई-पोताई का कार्य चल रहा है। सुबह-शाम भजन-कीर्तन के साथ ही धार्मिक अनुष्ठान भी होगा। कारागार में वर्तमान समय में 1625 बंदी हैं। इसमें 90 महिला बंदी हैं। प्राण प्रतिष्ठा को लेकर सभी काफी उत्साहित भी हैं। इसके चलते बंदियों में भक्ति का भाव दिखाई पड़ने लगा है। जेल के मंदिर की साफ-सफाई तेज हो गई है। प्राण प्रतिष्ठा के दिन मंदिर को झालरों से सजाया जाएगा। जेल के मंदिर में भगवान शिव, हनुमान जी की प्रतिमा है। सुबह-शाम बंदी शिव जी की पूजा करने के साथ ही परिसर में बैठकर हनुमान चालीसा का पाठ करते हैं। जेल की तरफ से मंदिर में 22 जनवरी को मानस पाठ का भी आयोजन भी किया जाएगा। जिला कारागार में दीपोत्सव की तैयारी को लेकर बंदी भी काफी उत्साहित हैं। इसके लिए उन्होंने अपने हाथों से इस पावन अवसर पर दीपक जलाने के लिए 2500 मिट्टी के दीए तैयार किए हैं। वैसे तो जेल के अंदर कच्चे दीए 10 हजार तैयार हैं, लेकिन दीपोत्सव के लिए 2500 दिए पक कर तैयार हुए हैं। दहेज हत्या के मामले में l निजामाबाद के सुरेंद्र प्रजापति बंद है। वह बंदियों को मिट्टी के बर्तन तैयार करने का गुर सिखाते हैं। इसके लिए जेल की तरफ से उन्हें सामाग्री उपलब्ध कराई जाती है। इस दौरान उन्होंने दीपोत्सव के लिए बंदियों के साथ मिलकर दीए तैयार किए हैं। इन दियों से पूरा जेल परिसर जगमग किया जाएगा। जेल अधीक्षक आदित्य कुमार ने बताया कि जेल परिसर के मंदिर की साफ-सफाई का कार्य चल रहा है। सुबह-शाम राम भजन, हनुमान चालीसा एवं भक्ति गीत बजाए जा रहे हैं। दीपोत्सव के अलावा प्राण प्रतिष्ठा के दिन मानस पाठ आदि का आयोजन किया जाएगा। मंदिर को आकर्षण तरीके से सजाया जाएगा।
Blogger Comment
Facebook Comment