घाघरा नदी के उफान और तटवर्ती क्षेत्रों में कटान पर निगाह
आजमगढ़:भारी बारिश के बाद घाघरा (सरयू) नदी में उफान और तटवर्ती क्षेत्रों में कटान को लेकर परेशान लोगों ने थोड़ी राहत की सांस ली, जब सेना ने क्षेत्र का जायजा लिया। बाढ़ को देखते हुए शासन ने सेना को अलर्ट कर दिया है और जरूरत पड़ने पर वह कमान भी संभाल सकती है।उधर देवारा खास राजा के बगहवा का पूरा के पास मंगलवार को भी कटान होने से ग्रामीणों की बेचैनी बढ़ गई है। सगड़ी तहसीलदार बृजेंद्र उपाध्याय के साथ लेफ्टिनेंट योगेंद्र सिंह राठौर व उनके साथ चार जवानों ने महुला-गढ़वल बांध पर डिघिया नाले से लेकर बदरहुआ, गांगेपुर और ठोकर निर्माण स्थल के साथ नदी की मुख्यधारा का अवलोकन किया। लेफ्टिनेंट योगेंद्र सिंह राठौर ने पानी का लेवल व बाढ़ प्रभावित गांवों का अध्ययन किया। सेना के जवानों के ठहरने के लिए मसुरियापुर महाविद्यालय का निरीक्षण किया। योगेंद्र सिंह ने बताया कि घाघरा नदी क्षेत्र को रेड अलर्ट घोषित किया गया है। उन्होंने एनडीआरएफ की टीम व पीएसी के जवानों की लोकेशन व उनके पास बाढ़ से बचाव के संसाधनों का ब्योरा तहसीलदार विजेंद्र उपाध्याय से मांगा। नाव, राशन, मेडिकल आदि की जानकारी ली। बताया कि जरूरत पड़ने पर सेना के 75 जवान अस्थाई रूप से कमान संभालेंगे और राहत व बचाव कार्य करेंगे। इस दौरान आपदा विशेषज्ञ डा. चंदन कुमार,तहसीलदार विजेंद्र उपाध्याय आदि मौजूद रहे। दूसरी ओर कटान धीमी हो गई है, लेकिन देवारा खास राजा के बगहवा का पूरा के पास कटान जारी है। 45 घर नदी के मुहाने पर हैं। पांच परिवार के लोग पलायन कर चुके हैं।देवारा खास राजा के झगरहवा में 70 घर, वासू का पूरा में 15 घर, साधु का पूरा में 50 घर नदी के मुहाने पर हैं। गांगेपुर के पास भी घाघरा नदी कटान कर रही है, तो तीन ठोकरों का निर्माण रुक गया है। गांगेपुर से परसिया रिग बंधा के पास भी कटान शुरू हो गई है।वहीं सेमरी गांव की आबादी के करीब पहुंच जलस्तर पहुंचने से लोगों में भय का माहौल है।
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