कार्यदायी संस्था (इसजेक) के कर्मचारियों को नवम्बर से नही मिला वेतन, अधिकारियों के आश्वासन पर काम चालू हुआ
आजमगढ़ : चीनी मिल सठियांव में गुरुवार की सुबह 10 बजे बकाया वेतन भुगतान की मांग को लेकर कार्यदायी संस्था (इसजेक) के कर्मचारियों ने पेराई ठप कर केन कैरियर के सामने धरना शुरू कर दिया। इसकी जानकारी पर मुख्य रसायनविद् बीके यादव व इसजेक के जनरल मैनेजर विरेंद्र कुमार मिश्रा ने तत्काल प्रभाव से भुगतान करने का आश्वासन देकर डेढ़ घंटे बाद काम शुरू कराया। डेढ़ घंटे की हड़ताल से मिल में अफरातफरी मच गई और लगभग 2000 क्विटल गन्ने की क्रशिग प्रभावित हुई। सठियांव में मिल संचालित करने वाली संस्था के 300 अधिकारी व कर्मचारी कार्यरत हैं, जिनको नवंबर महीने से वेतन नहीं मिल रहा है। कर्मचारियों का कहना था कि तीन महीने के सीजन में वेतन न मिलने से भोजन और दवा छोड़िए मकान का किराया नहीं दे पा रहे हैं। आए दिन आश्वासन के बाद भी जब वेतन नहीं मिला तो पहली पाली में कार्यरत 110 कर्मचारी मिल बंद कर हड़ताल पर चले गए और तत्काल भुगतान करने की बात पर अड़ गए। बीके यादव ने कहा कि वेतन भुगतान के लिए 51 लाख रुपये का चेक जारी हो चुका है। इस पर कर्मचारियों ने कहा कि भुगतान का मैसेज आने के बाद ही मिल चालू करेंगे। उसके बाद अधिकारी द्वारा चेक दिखाने पर लगभग डेढ़ घंटे बाद कर्मचारी काम पर लौटे। इसजेक के मैनेजर ने बताया कि मिल पर संस्था का पांच करोड़ रुपये बकाया है। धरना देने वालों में अंबरिक सिंह, अमरदीप सिंह, इन्द्रमणि राय, हरिदास आदि शामिल थे।
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